अगर आप घूमने के शौकीन हैं, तो फिर बात ही क्या है। अगर अभी तक नहीं है, तो इसे अपनी आदत में शुमार कर लें, क्योंकि जब आप घूमेंगे तो खुद को ही थोड़ा नजदीक से देखेंगे। घूमकर लौटने के बाद आपको वो सारी चीज़ें अच्छी लगने लगेंगी, जो पहले आपको परेशान करती थी या उलझन देती थीं। घुमक्कड़ी आपकी पर्सनैलिटी में ऐसे रंग भर देगी, जिनकी आपने कभी कल्पना भी नहीं की होगी। आप खुद महसूस करेंगे इस खुशनुमा बदलाव को।
पहली बार ट्रैवल कर रहें हैं तो रखें इन बातों का ध्यान
- छोटी-छोटी यात्राओं से शुरुआत करें।
- सामान कम रखें, जिससे आसानी से घूम सकें।
- जिस जगह जाने की योजना बना रहे हैं, उसके बारे में रिसर्च करें। अच्छी तरह से जानकारी लेने के बाद ही यात्रा शुरू करें।
- सबसे पहले ऐसी जगहों पर जाएं, जो जानी-पहचानी है और जहां हर एक सुविधा अवेलेबल हो।
- सुरक्षा, ठहरने और आने.जाने के साधनों की पड़ताल जरूर कर लें।
- कैश की जगह कार्ड से ज्यादा से ज्यादा काम लें।
- पहले देश में घूमें, कॉन्फिडेंस आने के बाद विदेश एक्सप्लोर करें।
- वीजा ऑन अराइवल वाले देशों में पहले जाएं।
- इमरजेंसी नंबरों को याद रखें।
ट्रैवल जगाता है आत्मविश्वास
घूमने से न केवल दुनिया के अलग.अलग रूप देखने को मिलते हैं, बल्कि खुद को पहचानने का भी मौका मिलता है। बेपरवाह जीने की प्रेरणा मिलती है। सोलो ट्रिप के दौरान लोगों से मिलनाए उनसे बातें करना, उनसे दोस्ती करना एक अनोखा अनुभव देता है। जिंदगी में आने वाले चुनौतियों का सामना करने के लिए आप तैयार रहते हैं।
समस्याओं से निपटना आ जाता है
‘दुनिया एक किताब की तरह है और जो यात्रा नहीं करते हैं वे केवल एक पन्ना पढ़ते हैं।’ संत ऑगस्टाइन का यह कथन तब-तब दोहराया जाता है, जब-जब घूमने से व्यक्तित्व के विकास की बात आती है। वास्तव में घूमने के दौरान आप जिंदगी के कितने आयाम सीखते हैं, आपको भी पता नहीं चलता। चाहे होटल या रास्ते में समस्या आ गया, गलत आदमी मिल जाए, इन्हें आप आसानी से हैंडल कर लेते हैं और उसका हल ढूंढ़ लेते हैं। ट्रैवल आपको रिसोर्सफुल भी बनाता है।
तनाव होता है दूर
ये बात वाकई सच है। किसी तरह की चिंता, परेशानी को दूर करना हो तो निकल जाएं अकेले या फ्रेंड्स के साथ ट्रिप पर। प्लानिंग के साथ जाने पर आप ट्रिप को एन्जॉय कप पाते हैं न कि उसमें उलझे रहते हैं। इसलिए बोरियत दूर करने के लिए ट्रिप पर जरूर जाएं।